0 घायलो को 50 हजार, गंभीर घायलों को 1 लाख और मृतकों के परिजनों को 5 लाख रुपये मुआवजा: पीयूष गोयल
ब्यूरो रिपोर्ट, चित्रकूट।
गुरुवार को अलसुबह सवा चार बजे वास्कोडीगामा पटना एक्सप्रेस के तेरह कोच पटरी से उतरने कि वजह से चार यात्रीयो की मौत हो गई और और 70 से ज्यादा यात्री जख्मी हो गये। हादसे की खबर पाते ही सभी अधिकारी मौके पर पहुंचे और एडीजी आनंद कुमार की सक्रियता से शीघ्र ही राहत कार्य शुरू हो गया। घायल कोच कोच डायल 100 के जरिये अस्पताल मे दाखिल कराया गया है। दूसरी तरफ रेलवे ने मृतकों और घायलों के लिए मुआवजे की घोषणा कर भी दी है। बता दे कि अभी तक हादसे की वजह साफ नहीं हो पाई है। घटना एक कारणो की जांच पड़ताल रेलवे के साथ एटीएस कानपुर की टीम करेंगी।
भारतीय रेलवे के पीआरओ अनिल सक्सेना ने हादसे पर दुख जताते हुए कहा कि हमने यात्रियों के परिजनों की सुविधा के लिए हेल्पलाइन नंबर्स जारी कर दिए हैं। राहत और बचाव कार्य चल रहा है। बताया जा रहा है कि सबसे ज्यादा नुकसान स्लीपर कोचों को हुआ है क्योंकि उस वक्त सभी यात्री सो रहे थे। इससे अनुमान लगाया जा रहा है कि घायलों की संख्या में बढ़ोतरी हो सकती है। बांदा ट्रेन दुर्घटना पर यूपी एडीजी (कानून और व्यवस्था) ने कहा कि पहली नजर में दुर्घटना का कारण स्थानीय मूल्यांकन के अनुसार खंडित रेलवे ट्रैक जैसा दिखता है। दुर्घटना की असली वजह जांच के बाद सामने आएगी। पटना से चलने वाली ट्रेन मानिकपुर के नजदीक 4.17 बजे बोलेरो से टकरा जाने के बाद पटरी से उतर गई जिसमें 3 की मौत हो गई और 50 से ज्यादा घायल हो गए। हादसे के शिकार लोगों के लिए रेल मंत्री पीयूष गोयल ने मुआवजे का ऐलान कर दिया है। घायल लोगों को 50 हजार, गंभीर रूप से घायलों को 1 लाख रुपये और मृतकों के परिजनों को 5 लाख रुपये मुआवजा देने की घोषणा की गई है।
नॉर्दन सेंट्रल रेलवे (एनसीआर) के पीआरओर अमित मालवीय ने घटना के बारे में जानकारी दी। उन्होंने जानकारी दी कि घटना के तुरंत बाद ही एक मेडिकल ट्रेन घटनास्थल के लिए रवाना कर दी गई और सुबह 5.20 मिनट पर राहत कार्य के लिए ट्रेन पहुंच चुकी थी। डिविजनल रेलवे मैनेजर (डीआएम) इलाहाबाद से पहले ही घटनास्थल पर पहुंच चुके हैं और एनसीआर के जनरल मैनेजर पर रवाना हो चुके हैं।