0 डा.काशी प्रसाद जायसवाल की 141 वीं जयंती धूमधाम से मनाई गयी
नरायनपुर (मिर्जापुर)।
डा.काशी प्रसाद जायसवाल की 141 वीं जयन्ती शनिवार को देर शाम एसडीपी पब्लिक स्कूल गंगाजी मार्ग के सभागार मे मनाया गया।इस दौरान आयोजित गोष्ठी में जायसवाल क्लब के राष्ट्रीय अध्यक्ष मनोज जायसवाल ने डा. जायसवाल के जीवन कृत्यो पर चर्चा करते हुए उन्हे भारत रत्न कि उपाधि से सम्मानित किये जाने की मांग किया।
राष्ट्रीय अध्यक्ष ने अपने सम्बोधन मे कहा कि डा. जायसवाल 36 भाषाओं के जानकार थे। इनका जन्म बिहार मे हुआ था। इनके पिता बहुत बड़े ब्यापारी थे ।मिर्जापुर मे रहकर अपना कारोबार करते थे ।डा. जायसवाल ने शुरुआती शिक्षा मिर्जापुर के बाद वाराणसी के क्वींस कालेज मे लिया।
मदन मोहन मालवीय व इनके पिता गहरे मित्र थे।मालवीय जी के कहने पर उच्च शिक्षा के लिए इग्लैंड जाने के लिए इनके पिता ने शर्त रखी कि डा. जायसवाल अंग्रेजो का पानी भी नही पियेगे ।उस समय भारत से इनका सारा राशन इग्लैंड जाता था।
डा. जायसवाल पहले भारतीय थे जिन्हे स्कालरशिप मिला। इनके नाम से जर्मनी मे रोड का नाम है। रविन्द्र नाथ टैगोर अपनी कविता लिखकर डा. जायसवाल से करेक्शन करवाते थे।
राष्ट्र कवि रामधारी सिंह दिनकर ने अपनी पुस्तक मे 27 लोगो के जीवन परिचय मे पहले पन्ने पर डा. जायसवाल को स्थान दिया था। राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा कि उस जमाने मे अंग्रेज कहते थे कि हिन्दुस्तान का सबसे चतुर ब्यक्ति यदि कोई है तो वह डा. काशी प्रसाद जायसवाल है।
सन् 1914 मे पटना हाईकोर्ट कि स्थापना मे इनका योगदान था ।इनकम टैक्स के बहुत बड़े अधिवक्ता थे ।इनके नाम से बिहार मे सोसायटी व लाइब्रेरी स्थापित है।
सन् 2004 मे भारत सरकार ने कानून बनाया लेकिन डा. प्रसाद ने सन् 1936 मे अपनी पुस्तक लिख दिया कि बेटियों का पिता की सम्पत्ति पर अधिकार होता है। देश की पहली सामाजिक बैठक की शुरुआत डा. जायसवाल ने सन् 1904 मे काशी मे किया था। राष्ट्रीय अध्यक्ष ने बताया कि पूरे भारत मे लगभग 16 करोड़ जायसवाल है ।हमारे समाज के , के कामराज तमिलनाडु प्रान्त के तीन बार मुख्यमंत्री रहे है।
उन्होने 27 नवम्बर को इतिहास दिवस घोषित किये जाने की मांग करने के साथ डा. काशी प्रसाद जायसवाल को भारत रत्न के सम्मान से सम्मानित किए जाने की मांग भारत सरकार से किया।
उन्होने बताया की पूरे देश मे हमारे जायसवाल क्लब के जिला प्रतिनिधि एक साथ एक दिन एक समय पर जिला मुख्यालय पर पत्रक देकर डा. जायसवाल को भारत रत्न दिये जाने कि मांग करेगा।
इसके पूर्व उपस्थित लोगो ने डा. जायसवाल के चित्र पर पुष्प अर्पित कर नमन किया। आयोजित गोष्ठी मे विजय प्रकाश जायसवाल, भरत जायसवाल, रमेश जायसवाल, अरविंद जायसवाल जनार्दन जायसवाल, कन्हैया लाल जायसवाल,आदि ने सम्बोधित किया।
जायसवाल क्लब नरायनपुर के पदाधिकारियों ने मंचासीन अतिथियो का सम्मान अंगवस्त्रम से किया। संचालन इंजि. धर्मेंद्र जायसवाल ने किया।
इस दौरान प्रमोद जायसवाल, मनोज जायसवाल, दिनेश जायसवाल, विमल जायसवाल, नागेंद्र जायसवाल, शुभम जायसवाल, राजेश चौधरी, संजय जायसवाल, सुधाकर, अजय, दीपक, राकेश,आदेश, ओमप्रकाश, श्रवण, मृत्युंजय आदि तमाम लोग उपस्थित रहे।