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पेंशनर कोषागार में किसी भी कार्य दिवस में प्रस्तुत कर सकता है अपना जीवित प्रमाण पत्र: मुख्य कोषाधिकारी

मिर्जापुर।

मुख्य कोषधिकारी अर्चना त्रिपाठी ने सभी पेंशनरांे को सूचित किया है कि शासनादेश के अनुपालन में पेंशनर अपना जीवित प्रमाण पत्र किसी भी कार्य दिवस में कोषागार में प्रस्तुत कर सकता है। इसके पश्चात् एक वर्ष तक नियमित रूप से पेंशन प्राप्त कर रहे बैंक खाता में कोषागार द्वारा पेंशन की धनराशि प्रेषित किया जाता रहेगा। इसी बीच किसी पेंशनर की मृत्यु हो जाती है, और पेंशनर के परिवार के सदस्य द्वारा मृत्यु की सूचना यदि कोषागार में नही प्राप्त कराते है, तो जीवन प्रमाण पत्र प्राप्त कराने के माह से एक वर्ष तक नियमित रूप से पेंशन प्रेषित होती रहेगी।

पेंशनर के मृत्यु दिनांक के पश्चात् अधिक प्रेषित धनराशि राजकीय धनराशि है जिसका समायोजन कोषागार द्वारा किया जाना है। प्रायः यह देखा जाता है कि सम्बन्धित बैंक कोषागार से अदेय प्रमाण पत्र प्राप्त किये बिना ही निदृष्टि उत्तराधिकारी को जीवनकालीन अवशेष का भुगतान कर दे रहे है, जिसके कारण यदि कोई अधिक भुगतान के सापेक्ष वसूली हो तो उसपर कोषागार स्तर से कार्यवाही करने में असुविधा होती है।

उपरोक्त के क्रम में आपको निदेर्शित किया जाता है, कि अपने अधीनस्थ जनपद के समस्त बैंक एवं उनकी शाखाओं को सुचित करें, कि मृतक पेंशनर के खाते से जीवन कालीन अवषेश (एल0टी0ए0) धनराशि का भुगतान कोषागार मीरजापुर से अदेय प्रमाण-पत्र (छव.क्नमे) प्राप्त करने के पश्चात् ही करें, अन्यथा की स्थिति में राजकीय धन के अनियमित भुगतान से होने वाले समस्त राजकोष की क्षति की जिम्मेदारी सम्बन्धित बैंक की होगी।

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