नहीं गुजरे डीएम, मंत्री और विधायक अहरौरा जमुई मार्ग से
ब्यूरो, मिर्जापुर (अहरौरा)।
गजब वीआईपी कल्चर है। जिस पानी को जनता के लिए उपलब्ध कराके अधिकारी और नेता तालियां बजवाते हैं, वहीं पानी मंचासीन ये वीआईपी नहीं पीते और मंच आरो फिल्टर पानी की बोतलों से सजा दी जाती है। गरीबों को आवास वितरण समारोह में सरकार के वित्त मंत्री राजेश अग्रवाल, डीएम मिर्जापुर विमल कुमार विधायक चुनार, विधायक राहुल कोल व विधायक रमाशंकर पटेल अहरौरा आये। लेकिन किसी ने मिर्जापुर से अहरौरा आते समय अहरौरा जमुई मार्ग का इस्तेमाल नहीं किया जबकि अहरौरा जमुई की दूरी मात्र अट्ठारह किलोमीटर है जबकि सभी गाड़ियां नरानयपुर से घूम कर आयी जिसकी दूरी जमुई से अहरौरा लगभग चालीस किलोमीटर है।सरकार पेट्रोल बचत की बात करती है, लेकिन इतना घूम कर आने से धन का दुरुपयोग हुआ जो आम जनता का पैसा है, यही तो वीआईपी कल्चर है जबकि अहरौरा जमुई मार्ग का इस्तेमाल हजारों आम जनता प्रतिदिन करती है। इसका सीधा कारण अहरौरा जमुई मार्ग पर बड़े बड़े गड्ढें हैं जिसपर चलना जान का जोखिम है। मंत्री जी अगर इस रास्ते से अगर भूले भटके आ भी जाते तो आम जनता की समस्याओं से वाकिफ हो जाते। योगी सरकार के सड़क गड्ढा मुक्ति आदेश की नाफर्मानी भी उजागर हो जाती और इस रास्ते से आने पर मंत्रीजी बोल भी सकते थे कि सड़क से क्यों नहीं लाये? ऐसे में अधिकारियों को खरी खोटी सुनना पड़ता इसलिए आज भी अधिकारी की लापरवाही से आम जनता को होने वाली परेशानियों से मंत्री अनजान रहते हैं और जनता के बीच में गुमराह नेताओं की किरकिरी होती रहती है। सूत्रों की मानें तो सरकार परिवर्तन के लिए अधिकारी वर्ग की शिथिलता कम जिम्मेदार नहीं होती।अहरौरा जमुई मार्ग पर भाजपा नेता कृष्ण कुमार तिवारी ने कहा मंत्री जी को इस रोड के बारे अवगत कराया गया तो वह बोले कि मैं मिर्जापुर का प्रभारी हूँ और जब तक इस समस्या का हल नहीं हो जाता तब तक मिर्जापुर से अहरौरा की यात्रा कठिन है।